रांची, अक्टूबर 31 -- रांची। विशेष संवाददाता झारखंड हाईकोर्ट ने सारंडा वन क्षेत्र के संरक्षित हिस्से में पत्थर खनन की अनुमति देने से इनकार कर दिया है। साथ ही राज्य पर्यावरण प्रभाव आकलन प्राधिकरण (सिया) के निर्णय को सही ठहराते हुए कहा है कि सारंडा और चाईबासा के पूरे वन क्षेत्र पर सतत खनन प्रबंधन योजना, 2018 समान रूप से लागू है, चाहे खनिज कोई भी हो। जस्टिस सुजीत नारायण प्रसाद और जस्टिस अरुण कुमार राय की अदालत ने मेसर्स निशांत रोडलाइंस की याचिका को खारिज करते हुए यह आदेश सुनाया। निशांत रोडलाइंस ने याचिका दायर कर कहा था कि उसने पश्चिम सिंहभूम जिले के गुनडीजोरा गांव में पत्थर खदान के लिए नीलामी में हिस्सा लिया था और वह सफल हुआ था। सभी आवश्यक औपचारिकताएं पूरी करने के बावजूद सिया ने पर्यावरणीय स्वीकृति देने से इनकार कर दिया। सिया का कहना था कि क्...