प्रतापगढ़ - कुंडा, जून 21 -- हमारे बड़े भाई सालिकराम मौर्य एक आदर्श शिक्षक होने के साथ ही कमर्ठता, सरलता, सादगी की प्रतिमूर्ति रहे। उन्हें प्रकृति के प्रति बहुत लगाव रहा। यह बात राष्ट्रपति पुरस्कार प्राप्त आदर्श शिक्षक स्व. शालिकराम मौर्य के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित करते हुए पूर्व कैबिनेट मंत्री, अपनी जनतापार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी प्रसाद मौर्या ने कही। उन्होंने कहा कि शालिकराम के किए गए सामाजिक, शैक्षणिक कार्य की आज भी समाज में अलग पहचान है। 1970 में उन्हें जनगणना के लिए राष्ट्रपति से पुरस्कार मिला। दूसरा सम्मान उत्कृष्ट सेवा के लिए राष्ट्रपति प्रतिभा पाटिल ने दिया। स्वामी प्रसाद ने पाखंडवाद पर प्रहार करते हुए कहा कि यह गलत है कि दान करो तब मृतक को स्वर्ग मिलेगा। घर में माता-पिता की सेवा करिए, घर ही तीर्थ स्थल है। तेरहवीं संस्कार...
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