मोतिहारी, अप्रैल 9 -- जिले में अपनी लोकगायकी से सुरों की महफिल सजानेवाले शहर में तकरीबन 1500 से अधिक कलाकार हैं, जो विभन्नि अनुष्ठानों, शादी समारोहों व अन्य मांगलिक कार्यक्रमों में अपने गीतों से लोगों का मनोरंजन करते हैं। इनमें जिले में करीब पांच हजार से अधिक लोक गायक कलाकार हैं। लोक गायक रामचंद्र साह, अमित गोस्वामी, विजय कुमार, व्यास अखिलेश्वर सिंह, ब्रजेश सिंह, नीरज कुमार, जय प्रकाश सिंह, अशोक गिरि, रामेश्वर तिवारी ने बताया कि उनकी कला की कद्र कम होती जा रही है। उचित पारश्रिमिक नहीं मिलने से गायकी के पेशा से लोक कलाकार दूरी बनाने लगे हैं। इसका मुख्य कारण है कि उन्हें समय पर पारश्रिमिक नहीं मिल पाता है। कार्यक्रम में प्रस्तुति देने के बाद संबंधित पार्टी के घर का चक्कर काटना पड़ता है। सरकारी कार्यक्रमों में नहीं मिलता मौका : व्यास अखिलेश्व...