संभल, मार्च 20 -- शाही जामा मस्जिद में 24 नवंबर 2024 को हुई हिंसा की जांच कर रहे त्रि-सदस्यीय न्यायिक जांच आयोग ने गवाहों की गैरहाजिरी पर कड़ा रुख अपनाया है। आयोग ने शाही जामा मस्जिद इंतजामिया कमेटी के सदर जफर अली एडवोकेट, मसूद अली फारूकी एडवोकेट और कासिम जलाल एडवोकेट को 11 मार्च 2025 को लखनऊ में पेश होने का आदेश दिया था, लेकिन वे उपस्थित नहीं हुए। इस पर आयोग ने फिर से समन जारी कर 20 मार्च को उपस्थित होकर साक्ष्य अंकित कराने के निर्देश दिए हैं। इसको लेकर आयोग सचिव ने पुलिस अधीक्षक को पत्र लिखा है। अब तक आयोग ने संभल में चार दौरे पूरे कर 160 लोगों के बयान दर्ज किए हैं। चौथे दौरे में डीएम, एसडीएम समेत 45 अधिकारियों और लोगों के बयान दर्ज हुए थे। बचे हुए गवाहों के बयान दर्ज करने के लिए अब लखनऊ में उपस्थित होकर साक्ष्य प्रस्तुत करने का निर्देश...