नई दिल्ली, दिसम्बर 4 -- नई दिल्ली, प्रमुख संवाददाता। दिल्ली उच्च न्यायालय ने राजधानी में गंभीर वायु प्रदूषण के दौरान निर्माण या मरम्मत कार्य में लगे व्यक्ति पर लगे जुर्माने को समाप्त करने से इनकार कर दिया है। उच्च न्यायालय ने कहा कि यह उनके अधिकार क्षेत्र में नहीं है। याचिकाकर्ता को राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण(एनजीटी) में गुहार लगानी होगी। न्यायमूर्ति मिनीपुष्करणा की पीठ ने आदेश में कहा कि वायु प्रदूषण नियंत्रण के लिए एनजीटी ने आदेश जारी किए हैं। इसके तहत ही दिल्ली नगर निगम(एमसीडी) वायु प्रदूषण पर नियंत्रण के लिए एनजीटी द्वारा लगाई गई पाबंदियों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ जुर्माना या अन्य कार्रवाई करता है। यहां भी डिफेंस कॉलोनी में ग्रेप-2 की पाबंदियों के बावजूद मरम्मत कार्य करा रहे याचिकाकर्ता पर एमसीडी ने जुर्माना लगाया है। इसलिए इस ज...