सहारनपुर, नवम्बर 29 -- नकुड़। श्रीमद्भागवत कथा के प्रथम दिन ब्रह्मानंद सरस्वती महाराज ने भागवत महापुराण का वर्णन करते हुए बताया की भागवत पुराण ग्रंथ सभी ग्रंथों का सम्राट है। इसलिए इसे सर्वश्रेष्ठ कहा गया है और इसका महत्व पद्मपुराण, स्कंद पुराण में भी लिखा गया है। शुक्रवार को रामदूत कॉलेज परिसर में सुबह के समय श्रीसूर्य पञ्चायतन महायज्ञ का आयोजन किया गया। इसके पश्चात दोपहर दो बजे से शाम पांच बजे तक चली श्रीमद्भागवत कथा में महाराज जी ने बताया कि भगवान की भक्ति के प्रवाह को बढ़ाने वाली कथा श्रीमद्भागवत कथा है। उन्होंने बताया कि भक्ति के कारण भगवान कोई जाति भेद नहीं करते हैं इसके विपरीत भक्तिहीन व्यक्ति का लगाव किसी से भी नहीं हो पाता है। श्रीमद्भागवत कथा के प्रथम दिन श्रद्धालु भागवत भगवान की भक्ति में आस्था की डुबकी लगाते हुए दिखाई दिए। इस द...