मुजफ्फरपुर, अप्रैल 6 -- मड़वन, एक संवाददाता। रेपुरा चक बरकुरबा ब्रह्मस्थान पर आयोजित नौ दिवसीय श्री शतचंडी महायज्ञ सह रामकथा महोत्सव के आठवें दिन रविवार को देर रात तक श्रद्धालुओं का तांता लगा रहा। मानस मर्मज्ञ कथावाचक मनीष माधव महाराज के मुखारबिंद से प्रभु श्रीराम, जगत-जननी जानकी और लक्ष्मण जी के वनगमन का प्रसंग सुनकर श्रद्धालुओं की आंखों में आंसू छलक उठे। कथावाचक ने कहा कि श्रीराम जी परमार्थ स्वरूप पर ब्रह्म है। वह अवगत अनादि अनुपम सभी विकारों से रहित और भेद शून्य है। वेद जिनका नेति नेति कहकर निरूपण करते हैं। आज वही परब्रह्म पिता का आज्ञा मानकर वनवास के लिए निकले हैं। अवधपुरी के नर-नारी भगवान की इस अवस्था को देखकर बहुत व्याकुल हो रहे हैं। संग में सीता जी और लक्ष्मण जी भी हैं। भगवान राम को पिता द्वारा वनवास भेजने से कोई दुःख नहीं हुआ है। भ...