दुमका, अक्टूबर 30 -- दलाही, प्रतिनिधि। मसलिया प्रखंड क्षेत्र के बास्कीडीह पंचायत के आस्ताजोड़ा गांव में आयोजित साप्ताहिक श्रीमद्भागवत कथा के प्रथम दिवस की कथा में श्रीधाम वृन्दावन से पधारे कथा वाचक संजय शास्त्री ने श्रोताओं को कथा सुनाते हुए कहा कि श्रीमद्भागवत कथा का महत्व वेदों का सार युगो-युगो से मानव जाति तक पहुंचता रहा है। भागवत महापुराण को वेदों का सार कहा गया है। कहा श्रीमद्भागवत कथा श्रवण मात्रा से ही जीवंतता और चैतन्यता का संचार होता है। कहा कि श्रीमद्भागवत अर्थात जो श्री से युक्त है, श्री अर्थात चैतन्य, सौंदर्य, ऐश्वर्य। यह एक ऐसी अमृत कथा है जो देवताओं के लिए भी दुर्लभ है। राजा परीक्षित ने स्वर्ग अमृत की बजाय कथामृत की ही मांग की। कथा के दौरान उन्होंने वृंदावन का अर्थ बताते हुए कहा कि वृंदावन इंसान का मन है। कभी-कभी इंसान के मन ...