चाईबासा, मई 29 -- जगन्नाथपुर, संवाददाता। गांव-गांव तक सरकार स्वास्थ्य सुविधाएं पहुंचाने का लाख दावा कर लें, लेकिन आज भी पश्चिमी सिंहभूम के सुदूरवर्ती गांव में स्वास्थ्य सुविधाएं नहीं पहुंच पा रही है। गरीबी और जागरूकता की कमी से लोग दम तोड़ने को विवश हैं या झाडफूंक का सहारा लेते हैं। जिले के नोवामुंडी प्रखंड क्षेत्र के जेटेया थाना अंतर्गत पड़ने वाले शुकरापाड़ा गांव में एक बच्ची इलाज के अभाव में प्रतिदिन मौत के करीब जा रही है। 1 साल 3 महीने की बच्ची एक दुर्लभ और गंभीर बीमारी से जूझ रही है। बच्ची का सिर उसके शरीर की तुलना में असामान्य रूप से बड़ा होता जा रहा है, जिससे उसके जीवन पर गहरा संकट मंडरा रहा है। सामाजिक कार्यकर्ता प्रमिला पात्रो जब इस सूचना के बाद गांव पहुंचीं तो उन्होंने पाया कि बच्ची की माता शारदा केराई स्वयं एक दैनिक मजदूर हैं और उस...