जमशेदपुर, अप्रैल 25 -- जब पहाड़ों की पुकार आती है तो जवाब देने का साहस कुछ ही लोग जुटा पाते हैं। इस बार जमशेदपुर की आठ साहसी महिलाओं ने उस पुकार को न सिर्फ सुना, बल्कि गो इकोहला ट्रैक को पूरा कर मिसाल कायम कर दी। विभिन्न व्यवसायों से ताल्लुक रखने वाली निशा रिंगसिया, रश्मि, शिल्पी, पूजा, दीप्ति, मंजूश्री, सोमा और रीना ने यह साबित कर दिया कि न उम्र मायने रखती है, न ही सीमाएं, बस जज़्बा होना चाहिए। पूर्वी हिमालय की गो इकोहला की ट्रैकिंग यात्रा भारत की सबसे चुनौतीपूर्ण ट्रैक में से एक मानी जाती है। 5 अप्रैल को यह यात्रा शुरू हुई। यह रोमांचकारी सफर ट्रैकिंग विशेषज्ञों की संस्था एका एक्सपीरियंस द्वारा आयोजित और संचालित किया गया था। संस्था ने ट्रैक के दौरान हर छोटी-बड़ी जरूरत का ख्याल रखा, चाहे वह सुरक्षा हो या मार्गदर्शन। इस कठिन ट्रैक में जहां...