कानपुर, अक्टूबर 28 -- बोले- माता-पिता का सम्मान किए बिना आशीर्वाद नहीं मिलता भगवान कपट से नहीं, सच्चे प्रेम और समर्पण से प्रसन्न होते हैं कानपुर, वरिष्ठ संवाददाता। कथा वाचक देवकीनंदन ठाकुर महाराज ने कहा कि अपने शहर और मंदिर को स्वच्छ रखना हमारा कर्तव्य है। जिस प्रकार विदेशों में लोग स्वच्छता का विशेष ध्यान रखते हैं और वहां के मंदिर व गलियां साफ-सुथरी रहती हैं, उसी प्रकार हमें अपने देश, अपने नगर को साफ करना चाहिए। मन, वचन और कर्म से शुद्धता बनाए रखना ही सच्ची भक्ति है। मोतीझील ग्राउंड में चल रही श्रीमद् भागवत कथा के पांचवें दिन मंगलवार को देवकीनंदन महाराज ने कहा कि सर्वेश्वरी श्री राधा रानी के गुणों का वर्णन कोई नहीं कर सकता, क्योंकि वे स्वयं प्रेम और करुणा की मूर्ति हैं। उनके चरणों की महिमा इतनी अनंत है कि उसे शब्दों में बांधना असंभव है। ...