नई दिल्ली, सितम्बर 24 -- मदन जैड़ा। नई दिल्ली। भारतीय वायुसेना के बेड़े से मिग-21 विमानों की पूरी तरह से विदाई के बाद लड़ाकू विमानों का संकट और गहराने की आशंका पैदा हो गई है। वायुसेना पहले से ही 198 लड़ाकू विमानों की कमी से जूझ रही थी। अब 36 और विमान सेवा से बाहर हो जाएंगे। इसके अलावा पिछले महीनों के दौरान कुछ विमान विभिन्न हादसों में नष्ट भी हुए हैं। सूत्रों के अनुसार इस साल के शुरू में वायुसेना की तरफ से बताया गया था कि उसके पास सिर्फ 31 स्कवाड्रन ही शेष बची हैं जबकि वायुसेना के लिए स्वीकृत स्कवाड्रन की संख्या 42 रखी गई है ताकि वह पाकिस्तान और चीन, दोनों तरफ से मिलने वाली चुनौतियों का सामना कर सके। लेकिन मौजूदा समय में वायुसेना लड़ाकू विमानों की भारी कमी से जूझ रही है। 11 स्कवाड्रन की कमी है। एक स्कवाड्रन में 18 विमान होते हैं। इस प्रका...