सीवान, अक्टूबर 8 -- सीवान, कार्यालय संवाददाता। सीवान जिले से युवाओं का पलायन लगातार बढ़ता जा रहा है। गांव से लेकर शहर तक हर घर का कोई न कोई सदस्य रोजगार की तलाश में दिल्ली, मुंबई, सूरत या विदेश चला गया है। जिले में रोजगार के अवसरों की भारी कमी, तकनीकी शिक्षा की कमजोर व्यवस्था और औद्योगिक ढांचे के अभाव ने इस समस्या को और गहरा किया है। सीवान में विधानसभा चुनाव के दौरान अब पलायन विषय पर भी चौक- चौराहों पर चर्चा होने लगी है। सभी के अपने- अपने दावे और तर्क भी हैं। लोगों का कहना है कि खेती अब लाभ का सौदा नहीं रह गई, जबकि सरकारी योजनाओं का लाभ अधिकांश बेरोजगार युवाओं तक नहीं पहुंच पाता। विशेषज्ञों का कहना है कि अगर स्थानीय स्तर पर उद्योग, लघु व्यापार और कौशल विकास केंद्रों को बढ़ावा दिया जाए, तो इस पलायन पर काफी हद तक रोक लगाई जा सकती है। सीवान ...