रांची, जुलाई 25 -- रांची, हिन्दुस्तान ब्यूरो। झारखंड सरकार द्वारा विश्वविद्यालयों में कुलपति, प्रति-कुलपति और अन्य महत्वपूर्ण पदों पर नियुक्ति से राज्यपाल की शक्तियों को समाप्त करने के निर्णय को भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव ने असंवैधानिक, दुर्भावनापूर्ण और लोकतंत्र के मूलभूत ढांचे पर सीधा प्रहार बताया है। शाहदेव ने इस कदम को शिक्षा व्यवस्था के राजनीतिकरण और उच्च शिक्षण संस्थानों को अपनी कठपुतली बनाने का षड्यंत्र करार दिया है। प्रतुल शाहदेव ने कहा कि यह चलन हाल के वर्षों में विपक्षी शासित प्रदेशों में देखा जा रहा है, जिसकी शुरुआत पश्चिम बंगाल से हुई। केरल, तमिलनाडु और पंजाब के बाद अब झारखंड भी इसी मॉडल का अनुसरण कर रहा है, जहां राज्यपाल को उच्च शिक्षा और विश्वविद्यालय के क्षेत्र में दिए गए अधिकारों में कटौती की जा रही है। शाहदेव ...
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