नई दिल्ली, अप्रैल 15 -- नई दिल्ली। विशेष संवाददाता सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को कहा कि महिलाओं के खिलाफ यौन हिंसा से जुड़े मामलों में जजों को अनुचित टप्पिणियां नहीं करनी चाहिए। इसके साथ ही, शीर्ष अदालत ने इलाहाबाद उच्च न्यायालय द्वारा हाल ही में कॉलेज छात्रा के साथ दुष्कर्म के मामले में आरोपी को जमानत देते वक्त की गई टिप्पणियों पर कड़ी आपत्ति जाहिर की है। शीर्ष अदालत ने जजों को संवेदनशील होने की नसीहत दी है। उच्च न्यायालय ने 17 मार्च को दुष्कर्म के मामले में आरोपी को जमानत देते हुए कहा था कि 'पीड़िता ने शराब के नशे में युवक के साथ जाने की सहमति देकर 'खुद मुसीबत को आमंत्रित किया और वह इस कृत्य (दुष्कर्म) के कथित कृत्य के लिए स्वयं 'जिम्मेदार थी। जस्टिस बीआर गवई और ऑगस्टीन जॉर्ज मसीह की पीठ ने इलाहाबाद उच्च न्यायालय द्वारा पारित आदेश पर स्वत...