लखनऊ, अप्रैल 23 -- अप्रैल महीने के बिजली बिलों में ईंधन व ऊर्जा खरीद अधिभार समायोजन लागू करने के मामले में मंगलवार को उपभोक्ता परिषद में राज्य विद्युत नियामक आयोग में लोक महत्व जनहित प्रस्ताव दाखिल किया। अधिभार लगाए जाने की वजह से पांच साल में पहली प्रदेश के उपभोक्ताओं की बिजली दरें 1.24% बढ़ गईं। उपभोक्ता परिषद ने कहा कि जब बिजली कंपनियों पर उपभोक्ताओं का 33,122 करोड़ रुपये बकाया हैं तो अधिभार लगातार ज्यादा शुल्क की वसूली अवैधानिक है। माना जा रहा है कि उपभोक्ता परिषद के दावे माने गए तो आम लोगों को काफी राहत मिल सकती है। लोगों को बढ़ी हुई दरों पर बिजली का बिल नहीं देना होगा। उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष अवधेश कुमार वर्मा ने आरोप लगाया कि पावर कॉरपोरेशन बहुवर्षीय वितरण टैरिफ के तहत बिजली दरों में 10 प्रतिशत तक इजाफा करना चाहता है। पावर कॉरपोर...