मुंगेर, मार्च 7 -- मुंगेर, एक संवाददाता। मुंगेर विश्वविद्यालय में सीनेट और सिंडिकेट चुनाव की लगातार अनदेखी से लोकतांत्रिक प्रक्रिया पर सवाल उठ रहे हैं। विश्वविद्यालय प्रशासन केवल मनोनीत सदस्यों के जरिए काम चला रहा है, जिससे पारदर्शिता और जवाबदेही पर प्रश्नचिह्न खड़े हो रहे हैं। ऐसे में विश्वविद्यालय में लोकतांत्रिक मूल्यों पर संकट खड़ा होता दिख रहा है। लोगों का कहना है कि, विश्वविद्यालय में स्थापना के बाद से ही अब तक सीनेट और सिंडिकेट चुनाव नहीं होने से लोकतांत्रिक मूल्यों की हत्या हो रही है। ज्ञात हो कि, विश्वविद्यालय की स्थापना के बाद से अब तक एक बार भी सीनेट और सिंडिकेट के चुनाव नहीं कराए गए हैं। अभी तक विश्वविद्यालय द्वारा दोनों चुनाव की लगातार अनदेखी की गई है और केवल मनोनीत सदस्यों से ही विश्वविद्यालय अपना काम चलाते रहा है। ऐसे में प...