अमरोहा, अप्रैल 4 -- चैत्र नवरात्र की सप्तमी तिथि पर शुक्रवार को मां कालरात्रि की पूजा विधि विधान संग की गई। मंदिरों में भक्तों की भारी भीड़ जुटी। माता के जयकारे एवं घंटों की टंकार गूंजती रही। लंबी लाइनों में लगकर श्रद्धालुओं ने मां का पूजन किया। नवरात्र पर्व की सप्तमी तिथि पर मां भगवती की सातवीं शक्ति देवी मां कालरात्रि की पूजा का विधान है। धर्म ग्रंथों के अनुसार शुंभ-निशुंभ की सेना का संघार करने के लिए देवी ने अपनी सभी शक्तियों को विभिन्न रूपों में अवतरित किया। रक्तबीज नामक राक्षस का संघार रक्तदंतिका बनकर मां कालरात्रि ने ही किया था। भगवान शिव द्वारा एक बार काली पुकारे जाने के कारण ही देवी को कालरात्रि के नाम से जाना जाता है। मान्यता है कि नवरात्र सप्तमी की रात यज्ञ-हवन करने से साधकों के सारे मनोरथ पूर्ण होते हैं। स्थानीय ज्योतिषाचार्यों...