रामपुर, सितम्बर 21 -- बीएसए दफ्तर के लेखा अनुभाग में तैनात रहे सहायक लेखाकार नेगपाल सिंह एक माह जेल में रहने के बाद भी निलंबित नहीं हुआ जबकि नियम अनुसार 48 घंटे जेल में रहने वाले कर्मचारी को निलंबित किया जाता है। इस मामले में वित्त एवं लेखाधिकारी ने उसकी दोनों पदोन्नति निरस्त कर जांच शुरू कर दी है। पिछले दिनों सहायक लेखाकार से चतुर्थ श्रेणी के पद पर रिवर्ट किए गए कार्मिक नेगपाल सिंह को थाना सिविल लाइन पुलिस ने 16 जनवरी 2025 को कार्यालय से गिरफ्तार किया। उस पर अपनी पत्नी ज्ञानेश्वरी की फर्जी नियुक्ति करने और उसे वेतन भुगतान करने का आरोप है। नेगपाल सिंह की जमानत काफी दिन बाद हुई और वह 17 फरवरी को कार्यालय पहुंचा। लंबे समय तक जेल में रहने के बाद भी उसे निलंबित नहीं किया गया। इस संबंध में उस समय वित्त एवं लेखा अधिकारी बेसिक शिक्षा विकास खंडेल...