लखनऊ, अगस्त 1 -- बीते पांच वर्षों में लखनऊ के औद्योगिक क्षेत्र ने छलांग मारी है। फैक्ट्रियां चार गुना हो गई हैं। साथ ही यहां की विशेषता कही जाने वाले चिकनकारी को 'ओडीओपी (एक जिला एक उत्पाद) योजना में लखनऊ की पहचान मिली। अमेरिकी शुल्क वृद्धि से लखनवी पहचान 'चिकनकारी संकट मे आ सकती है। रोजी रोटी का संकट मंडरा सकता है। इसके अलावा फार्मा सेक्टर और ऑटोमाबाइल पार्ट्स के निर्यातकों की चिंता बढ़ गई है। सभी कारोबारी, निर्यातक पशोपेश में हैं कि अब क्या होगा। लखनऊ बोले मुहिम के तहत उद्यमियों से अमेरिकी सरकार के टैरिफ से होने वाले प्रभाव पर बात की गई। प्रस्तुत है रिपोर्ट- एक तरफ लखनऊ में औद्योगिक विकास ने बीते पांच सालों में छलांग लगाई है, जहां फैक्ट्रियों की संख्या चार गुना बढ़कर 1.95 लाख तक पहुंच गई है और सालाना 11 अरब रुपये से ज्यादा का निर्यात हो...
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