मेरठ, मार्च 25 -- मेरठ। यह नाम सुनने में कितना भव्य लगता है, अक्षरधाम रेजीडेंट वेलफेयर सोसाइटी। सुनते ही आंखों के सामने एक सुंदर, सुव्यवस्थित, हरियाली से भरी, आधुनिक सुविधाओं वाली जगह की तस्वीर उभरती है। पर जब इस नाम के पीछे छिपी कॉलोनी की सच्चाई सामने आती है, तो कहानी कुछ और ही निकलकर आती है। जिसकी असलियत एक बदहाल कॉलोनी की तरह है। यहां नालियों और की सीवर की व्यवस्था दयनीय है। गंदे पानी की निकासी का कोई तय रास्ता नहीं है। नतीजा, जलभराव, बदबू, मच्छरों का आतंक और बीमारियों की मार। कॉलोनी चाहती है, समस्याओं से पार। मेरठ शहर की पॉश कॉलोनियों में गिना जाने वाला नाम, अक्षरधाम कॉलोनी। सुनते ही लगता है, कि ये कोई ऐसा इलाका होगा जहां हरियाली, सफाई, और मूलभूत सुविधाएं होंगी। एक ऐसा इलाका जहां लोग चैन से रहते होंगे, जहां हर सुबह खुले आकाश के नीचे स...