मथुरा, जून 11 -- मथुरा। विगत पंच वर्षीय योजना में प्रदेश सरकार द्वारा सभी ग्राम पंचायतों में सामुदायिक शौचालय बनाने का निर्णय लिया गया, जो वर्तमान पंच वर्षीय योजना में पूर्ण हो गया। एक ग्राम पंचायत में इस शौचालय निर्माण में करीब छह लाख रुपये खर्च किए गये थे। इस प्रकार मांट ब्लाक की 43 ग्राम पंचायतों में करीब तीन करोड़ रुपये खर्च किए गये। शासन की मंशा थी कि ग्रामीण क्षेत्र के लोग इनका उपयोग करें, ताकि खुले में शौच से मुक्ति मिल सके, इसीलिए शासन ने इन शौचालयों का नाम बृज की लाज रखा था। पर ग्राम प्रधानों, पंचायत सचिवों, एडीओ पंचायत की अनदेखी के चलते ज्यादातर शौचालय बदतर हालात में पहुंच गये हैं। मांट मूला, मांट राजा, अर्रुआ जैसी चुनिंदा पंचायत ही ऐसी हैं, जहां ये शौचालय सही दिख रहे हैं। बाकी ज्यादातर स्थानों पर तो यह शासन की मंशा को ठेंगा दिखा...