बांदा, मार्च 19 -- बांदा। जनपद में करीब 10 हजार से अधिक मोटर मैकेनिक हैं। जो वाहनों की मरम्मत कर अपना और परिवार का भरण-पोषण कर रहे हैं। लेकिन जनपद के मोटर मैकेनिक सुविधाओं के आभाव, बढ़ती महंगाई व काम आमदनी जैसी समस्याओं से जूझ रहे हैं। मोबिल ऑयल-डीजल के बीच काम करने वाले इन मोटर मैकेनिकों के पास न तो इलाज की व्यवस्था है, न ही सही प्रशिक्षण की। प्रशासन की ओर से किसी तरह के प्रशिक्षण की व्यवस्था न होने से नई तकनीक वाले वाहनों की मरम्मत कर पाना मुश्किल हो जाता है। गैराज की सुविधा न होने से सड़क किनारे ही वाहनों की मरम्मत करनी पड़ती है। इससे मोटर मैकेनिक के साथ-साथ वाहन स्वामी को भी काफी समस्या होती है। प्रशासन हमारी समस्या का हल तो नहीं देती, उल्टा हमें ही जाम व अतिक्रमण की बजह बताकर हटवा दिया जाता है। वाहन मालिक मरम्मत कराने के बाद उचित मजदूरी...
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