नई दिल्ली, फरवरी 16 -- दिव्यांग समाज के अभिन्न अंग होते हुए भी पलामू में खुद को उपेक्षित महसूस कर रहे हैं। दिव्यांगों के लिए न तो पलामू जिले में अबतक डेडिकेटेड स्कूल, छात्रावास और आवासीय परिसर का निर्माण कराया गया है और न ही उन्हे रोजगार व स्वरोजगार से जोड़ने की कोई अलग से व्यवस्था की गई है। स्वावलंबी बनाने की दिशा में अबतक कोई पहल नहीं शुरू हुई है। इस कारण पलामू के दिव्यांग काफी परेशान और अवसाद की स्थिति में जी रहे हैं। दिव्यांगों का सहारा माने जाने वाले राष्ट्रीय दिव्यांग पेंशन योजना का लाभ देने में भी काफी अनियमितता है। इसके कारण उन्हे आर्थिक परेशानियों से जुझना पड़ रहा है। दिव्यांगों को चालू वित्त वर्ष 2024-25 में अब तक सहायक उपकरण भी उपलब्ध नहीं कराया गया है। उपकरण के लिए भी कई बार दौड़ाया जाता है। बोले पलामू अभियान में दिव्यांगों ने कह...