आगरा, मार्च 9 -- किसी भी विभाग में लंबे समय तक काम करने के बाद एक कर्मचारी को आखिरकार रिटायर होना पड़ता है। इसके बाद उसे जीवन यापन के लिए पेंशन दी जाती है। ये पेंशन मूल वेतन से काफी कम होती है, लेकिन इसे पाने के लिए रिटायर्ड कर्मचारी को भारी टेंशन झेलनी पड़ती है। हिन्दुस्तान के बोले कासगंज अभियान के तहत शहर के पेंशनधारी बुजुर्गों ने शिरकत की। यहां संवाद के दौरान उन्होंने बताया कि जिस विभाग के लिए काम किया, वही विभाग आज उनकी नहीं सुनता। 50 प्रतिशत से ज्यादा सेवानिवृत कर्मियों की पेंशन बन ही नहीं पाई भिन्न विभागों में अपना सेवा काल पूर्ण करके सेवानिवृत होने वाले पेंशनर्स ने आपके अपने दैनिक समाचार पत्र हिंदुस्तान के बोले कासगंज संवाद में अपनी पेंशन तथा अन्य देयकों के लंबित भुगतान समेत अन्य समस्याओं को प्रमुखता से रखा। पेंशनर्स बताते हैं कि नई ...
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