औरंगाबाद, मार्च 24 -- जिले के विभिन्न जगहों पर दो हजार से अधिक पेंटर काम की तलाश में गांव से शहर अन्य जगहों पर आते हैं। टाइल्स के बढ़ते उपयोग की वजह से इनका रोजगार खत्म हो रहा है। अब लोग पेंट की जगह घरों में टाइल्स लगवा रहे हैं। शिक्षा की कमी के कारण यह दूसरे रोजगार भी नहीं कर सकते हैं। जान जोखिम में डालकर उंचे भवनों का रंग रोगन करते हैं। सुरक्षा के लिए उनके पास कुछ भी उपलब्ध नहीं है। कई बार उपर से गिरने पर उनके हाथ-पैर टूट जाते हैं। इसके बाद उनके घर में भुखमरी की स्थिति उत्पन्न हो जाती है। पेंटर रंजीत कुमार, दिलीप कुमार, रोहित कुमार, जितेंद्र कुमार, अरविंद चौधरी, मंजय पासवान, राकेश कुमार, जयप्रकाश कुमार आदि ने बताया कि हम लोगों को रोज काम नहीं मिलता है। मुख्य रूप से दीपावली के अवसर पर धड़ल्ले से कम मिलता है और इस आमदनी से साल भर का खर्च नि...
Click here to read full article from source
To read the full article or to get the complete feed from this publication, please
Contact Us.