एटा, जुलाई 7 -- प्लास्टिक मुक्त बनाने की सरकारी घोषणाएं और आदेश हवा-हवाई साबित हो रहे हैं। जमीनी हकीकत यह है कि आज भी शहर के बाजारों और गलियों में प्लास्टिक बैग का धड़ल्ले से इस्तेमाल जारी है। इससे न सिर्फ पर्यावरण को नुकसान पहुंच रहा है। बल्कि शासन के निर्देशों की भी खुलेआम धज्जियां उड़ रहीं हैं। प्लास्टिक से सबसे अधिक नुकसान नाले नालियों में हो रहा है। बोले एटा के तहत स्थानीय लोगों से इस संबंध में बात हुई तो सभी ने स्वर में कहा कि पॉलिथीन को बंद होना चाहिए। क्योंकि ये प्रकृति के लिए हानिकारक है। जिले में प्लास्टिक एक ऐसी समस्या है, जो पर्यावरण के लिए एक गंभीर चुनौती बन चुकी है। इसके बढ़ते उपयोग के कारण जिले की ईशन नदी सहित अधिकांश तालाबों, झीलों के अलावा अनेकों जगह मिट्टी में प्लास्टिक कचरा जमा हो गया है। इसे नष्ट करना अब बेहद मुश्किल हो ग...