लखीमपुरखीरी, फरवरी 12 -- निघासन। तीन दिनों तक बैलहा गांव के मजरों में दहशत बने तेंदुए को पिंजरे में कैद होने के बाद अफसरों के निर्देश पर कतर्निया घाट के जंगल में छोड़ दिया गया। यह वयस्क नर तेंदुआ मेडिकल जांच में पूरी तरह स्वस्थ और फुर्तीला पाया गया था। दक्षिण निघासन वन रेंज के बैलहा डीह गांव के पचास वर्षीय नंदकिशोर को छह फरवरी को सुबह अपने खेत में लाही काटते समय पास के गन्ने के खेत से निकले तेंदुए ने मार दिया था। उसी रात को वहां से करीब डेढ़ किलोमीटर दूर ठाकुरपुरवा गांव के रामदुलारे के घारी में बंधे बछड़े को भी इस तेंदुए ने अपना शिकार बना लिया। अगले दिन सात फरवरी की शाम करीब पांच बजे ठाकुरपुरवा गांव के पश्चिम गन्ना छीलने गई मैकू की लड़की कुसुमा पर तेंदुए ने झपट्टा मार दिया था। हालांकि उसके कपड़े ही तेंदुए के पंजों में फंसे थे। आठ फरवरी की शाम ...
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