प्रयागराज, अप्रैल 29 -- स्कूलों में प्रवेश के समय बच्चों की उम्र छिपाने के लिए खेल शुरू हो गया है। ऐसे मामलों में संदेह होने पर एसडीएम ने जांच कर ही प्रमाणपत्र देने की अनुमति दी है। दरअसल, एक साल से पुराने जन्म प्रमाणपत्र को बनवाने के लिए लोगों को अब तहसील कार्यालय के आदेश की जरूरत होती है। इस वक्त प्रवेश के लिए जन्म प्रमाणपत्र बनवाने के लिए लाइन लगी है। मंगलवार को एसडीएम कोर्ट में एक व्यक्ति अपने बच्चे के साथ पहुंचा। उनके सभी दस्तोवज ठीक थे। बच्चे की उम्र अधिक लगने पर एसडीएम ने उससे पूछ लिया कि कितने साल के हो। बच्चा छोटा था, उसके मुंह से निकल गया नौ वर्ष, जबकि दस्तावेज पर उम्र छह वर्ष दर्शाई गई थी। एसडीएम ने इसे रोक दिया और हर आवेदन की ठीक से जांच करने के लिए कहा।

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