आगरा, मई 4 -- दीवानी में चल रहे मुकदमों में पीड़ित ने चार युवकों पर अलग-अलग आधार कार्डों से जमानत और गवाही देने का आरोप लगाया है। शिकायत पर पुलिस ने पीड़ित की नहीं सुनी। न्यायालय के आदेश पर थाना न्यू आगरा पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। कागारौल के गढ़मुक्खा के रहने वाले प्रमोद कुमार ने गांव के लाखन, बास सुजान के प्रमोद, नारायन और अंकित के खिलाफ न्यायालय में प्रार्थनापत्र प्रस्तुत किया था। आरोप है कि लाखन ने अपना रामभरोसी नाम से एक आधारकार्ड और बनवा रखा है। आरोपी रामभरोसी नाम से अंगूठा लगाकर गवाही देता है, और लाखन नाम से हस्ताक्षर कर जमानत लेता है। असली रामभरोसी की छह फरवरी 2012 में मृत्यु हो चुकी है। उसके इस काम में प्रमोद, नारायन और अंकित भी साथी हैं। उन्होंने 2022 के एक मुकदमे में फर्जी आधारकार्ड लगाया था। पूछने पर गाली गलौज...