लखनऊ, फरवरी 15 -- सरकारी मेडिकल संस्थान के डॉक्टर प्राइवेट प्रैक्टिस न करें। यदि कोई डॉक्टर प्राइवेट प्रैक्टिस करते पाया गया तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। संस्थान प्रशासन व शासन स्तर पर ऐसे डॉक्टरों की पहचान की जाएगी। उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। यह चेतावनी चिकित्सा शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव पार्थ सारथी सेन शर्मा ने दी। वह शनिवार को अटल बिहारी वाजपेई सांइटिफिक कन्वेंशन सेंटर में केजीएमयू जनरल सर्जरी विभाग के 113वें स्थापना दिवस समारोह को संबोधित कर रहे थे। चिकित्सा शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव पार्थ सारथी सेन शर्मा ने कहा कि सरकार हर महीने डॉक्टरों को नॉन प्रैक्टिसिंग भत्ता प्रदान कर रही है। ऐसे में डॉक्टर भी नैतिक जिम्मेदारी समझें। प्राइवेट प्रैक्टिस न करें। मनाही के बावजूद यदि डॉक्टर प्राइवेट प्रैक्टिस करते पाए गए तो उनके...