प्रयागराज, नवम्बर 20 -- प्रयागराज। शादियों के फर्जी पंजीकरण को रोकने के लिए प्रदेश सरकार ने नियमों में कुछ बदलाव क्या किए, विवाह कराने वाले 'पंडितजी' ने तो शादी कराने से ही इनकार कर दिया। कम से कम विवाह पंजीकरण कार्यालयों के आंकड़े इसी बात की तस्दीक करते हैं। पहले जहां प्रतिमाह हर सब रजिस्ट्रार कार्यालय में 1800 से दो हजार पंजीकरण हुआ करते थे तो वहीं बीते चार महीनों से पूरे जिले में इनकी संख्या संख्या 4177 रह गई है। अब पंजीकरण कार्यालय में लोग भी परेशान हैं। दरअसल शादी के पंजीकरण को लेकर तमाम विवाद सामने आते थे। कई बार उसी दिन शादी और उसी दिन पंजीकरण कराकर अंतरजातीय विवाह होते थे और कई बार नाबालिगों के विवाह पर थानों में मुकदमे तक दर्ज होते थे। ऐसे बढ़ते मामलों को देखते हुए हाईकोर्ट ने निबंधक कार्यालय को इस पर एक नियम बनाने के निर्देश दिए...