नई दिल्ली, दिसम्बर 11 -- दुनियाभर में फ्रेंचाइजी क्रिकेट का बोलबाला है। इस बात पर काफी चर्चा हो रही है कि क्या नेशनल टीम की ओर से खेलने से ज्यादा फ्रेंचाइजी लीग को अहमियत दी जानी चाहिए। इंटरनेशनल मैचों के बजाय इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) जैसी फायदेमंद लीग को प्राथमिकता देने वाले खिलाड़ियों का ट्रेंड बढ़ा है। कपिल देव ने इसपर अपनी बेबाक राय रखी है। भारत के महान ऑलराउंडर और 1983 विश्व कप विजेता कप्तान का मानना है कि देश के लिए खेलने से ज्यादा अहम कुछ भी नहीं। उन्हें लगता है कि आखिरी फैसला खिलाड़ी का होता है लेकिन देश का प्रतिनिधित्व करना हमेशा सबसे बड़ा सम्मान बना रहना चाहिए। कपिल ने गुरुवार को कहा, "मुझे लगता है कि हर इंसान अलग होता है। हर किसी को पैसे से प्यार होता है और कुछ खिलाड़ी लीग को प्राथमिकता दे सकते हैं। लेकिन मुझे अब भी लगता है...