नई दिल्ली, फरवरी 14 -- दिल्ली हाईकोर्ट ने वैवाहिक केस में पति सहित पूरे परिवार को फंसाने के मामले में अहम टिप्पणी की है। अदालत का कहना है कि कोर्ट ने 'कई मामलों में वैवाहिक मुकदमेबाजी में पति और उसके परिवार को फंसाने की बढ़ती प्रवृत्ति' देखी है। जस्टिस अमित महाजन ने 2017 में दिल्ली छावनी पुलिस स्टेशन में दर्ज एक एफआईआर को खारिज करते हुए यह टिप्पणी की, जिसमें आरोप लगाया गया था कि एक महिला से दहेज की मांग की गई है। उसके पूर्व पति और उसके परिवार द्वारा महिला को परेशान किया जा रहा है। जस्टिस महाजन ने इस बात पर गौर किया कि कपल के अलग रहने और तलाक की अर्जी दाखिल करने के तीन साल से ज्यादा समय बाद एफआईआर दर्ज की गई थी। अदालत ने यह भी माना कि बिना किसी विशेष जानकारी के यह आरोप लगाए गए हैं। तलाक का आदेश 2019 में दिया गया था। कोर्ट ने कहा कि धारा 49...
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