मधुबनी, मई 27 -- पंडौल। पत्नी के अटल निश्चय व उसकी महिमा का गुणगान करने वाला वट सावित्री पूजा मनाया गया। यह व्रत बरगद के वृक्ष की महिमा का ही गुणगान करता है। इसके अलावा सुहागिन महिलाएं ज्येष्ठ कृष्ण त्रयोदशी से अमावस्या तक तीन दिनों के लिए उपवास रखती हैं। सोमवार को पंडौल के विभिन्न इलाकों में वट सावित्री पूजा किया गया। जहां बरगद के वृक्ष की पूजा कर महिलाएं देवी सावित्री के त्याग,पति प्रेम और पतिव्रत धर्म की कथा का स्मरण किया। यह व्रत ्त्रिरयों के लिए सौभाग्य वर्धक, पाप हारक, दु:ख प्रणाशक और धन-धान्य प्रदान करने वाला माना जाता है। व्रत करती हैं वे पुत्र-पौत्र-धन आदि पदार्थों को प्राप्त कर चिरकाल तक पृथ्वी पर सब सुख भोग कर पति के साथ ब्रह्मलोक को प्राप्त करती हैं। ऐसी मान्यता है कि वट वृक्ष की जड़ों में ब्रह्मा, तने में भगवान विष्णु एवं डालि...