शामली, जून 6 -- गुरुवार को निर्जला एकादशी पर नगर में जगह-जगह मीठे शरबत के प्याउ लगाये गये बही बिजली उपकेन्द्र पर कर्मचारियों द्वारा हलुए का प्रसाद व मीठा शरबत बनाकर उपभोक्ताओ व राहगीरो को लिाकर पुण्य अर्जित किया। निर्जला एकादशी के पावन अवसर पर जलालाबाद कस्बे में जहां मंदिरों में दान-पुण्य का दौर चला। वहीं, जगह-जगह शर्बत की प्याऊ लगाई गई। धार्मिक मान्यता है कि निर्जला एकादशी का व्रत रखने से सारे पाप नष्ट हो जाते हैं और व्रत के प्रभाव से मनुष्य विष्णु लोक को प्राप्त होता है। व्रतधारी मनुष्य को करोड़ बार सोने के दान का फल मिलता है। इस दिन जल से भरा घड़ा, वस्त्र से ढक कर स्वर्ण सहित दान करने का बड़ा महत्व है। निर्जला एकादशी को भीम सैनी एकादशी भी कहा जाता है। निर्जला एकादशी, 'निर्जला शब्द का मतलब है बिना जल के, यानी इस व्रत में ना खाना खाया जाता ...