लातेहार, जून 7 -- लातेहार, प्रतिनिधि। विहिप के क्षेत्रीय मंत्री सह बिहार-झारखंड के पूर्व प्रांत मंत्री (संपर्क) विरेंद्र विमल ने कहा कि देवता व असुरों के बीच हुए समुंद्र मथन में अमृत निकला था। उसकी चार बूंदे प्रयागराज, हरिद्वार, उज्जैन व नासिक में गिरे थे। इन्हीं चार जगहों पर प्रति वर्ष 12 वर्ष में कुंभ मेला लगता है। श्री विमल शहर के सरस्वती विद्या मंदिर परिसर में विश्व हिंदु परिषद की दुर्गा वाहिनी की आठ दिवसीय शौर्य प्रशिक्षण के छठे दिन को कुंभ की महिमा विषय पर संबोधित कर रहे थे। उन्होंने आगे कहा कि इस वर्ष 13 जनवरी से 26 फरवरी तक प्रयागराज में महाकुंभ का आयोजन किया गया। यहां गंगा, यमुना व सरस्वती नदियों का संगम होता है। इसे त्रिवेणी कहते हैं। इस महाकुंभ में 66 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं ने पवत्रि स्नान किया। विश्व हिंदु परिषद ने भी यहां ...