नई दिल्ली, अक्टूबर 19 -- दिवाली के शुभ मौके से पहले चंद्रयान ने भी एक खुशखबरी भेजी है। ISRO के मुताबिक चंद्रयान-2 मिशन ने अपने वैज्ञानिक उपकरणों की मदद से पहली बार यह पता लगाया कि सूरज से निकलने वाली कोरोनल मास इजेक्शन (सीएमई) का चंद्रमा पर क्या असर पड़ता है। सूर्य और चंद्रमा के बीच रिश्ते को लेकर यह बड़ी खोज मानी जा रही है। इसरो ने कहा, इस जानकारी से चंद्रमा के बाह्यमंडल, चंद्रमा के बहुत पतले वायुमंडल और उसकी सतह पर अंतरिक्ष मौसम के प्रभाव को समझने में मदद मिलेगी। श्रीहरिकोटा से 22 जुलाई 2019 को जीएसएलवी-एमके3-एम1 रॉकेट के जरिये प्रक्षेपित किए गए चंद्रयान-2 में आठ वैज्ञानिक उपकरण थे और 20 अगस्त 2019 को चंद्रयान-2 सफलतापूर्वक चंद्रमा की कक्षा में पहुंचा। इसरो की एक विज्ञप्ति के अनुसार, चंद्रयान-2 पर लगे उपकरणों में से एक- 'चंद्राज एटमॉस्फ...