नई दिल्ली, अगस्त 20 -- दिल्ली विश्वविद्यालय में पढ़ने वाले हजारों छात्र-छात्राएं लंबे समय से हॉस्टल की कमी की समस्या से जूझ रहे हैं। यूनिवर्सिटी से जुड़े करीब 91 कॉलेजों और 16 फैकल्टी विभागों में लगभग सात लाख छात्र पढ़ते हैं, लेकिन उनमें से केवल सीमित संख्या को ही कॉलेज हॉस्टल की सुविधा मिल पाती है। अधिकतर छात्रों को निजी पीजी (पेइंग गेस्ट) या किराए के मकानों में रहना पड़ता है, जिनका खर्च सामान्य परिवारों के लिए वहन करना मुश्किल है। नार्थ कैंपस में हर साल संचालित होने वाले तीन कॉलेजों के प्रथम वर्ष के छात्रों के लिए इस बार हॉस्टल का आवंटन नहीं हुआ है। हंसराज कॉलेज, रामजस कॉलेज व हिंदू कॉलेज में अलग अलग कारणों से इस बार छात्रों को कमरा आवंटित नहीं हुआ है। रामजस कॉलेज के प्रिंसिपल प्रो.अजय अरोड़ा का कहना है कि छात्रावास की स्थिति जर्जर है इ...