मुरादाबाद, जून 26 -- खरीफ अभियान में किसानों को जरूरत के अनुरूप उर्वरक उपलब्ध कराने की कार्ययोजना प्रभावी कर दी गई है। अब जोतबही देखकर किसानों को उर्वरक बांटे जाने की निगरानी होगी। उर्वरकों के साथ अन्य उत्पादों की टैगिंग भी रोकी जाएगी। खादों के विक्रेता यूरिया, डीएपी, जिंक सहित कीटनाशकों के संबंध में पूरा विवरण प्रदर्शित करेंगे। प्रमुख सचिव कृषि ने कृषकों को उनकी जोत, खेती की भूमि के आधार पर उर्वरक उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। ओवर रेटिंग, कालाबाजारी तथा खाद की तस्करी को लेकर दिशा निर्देश जारी किए हैं। जिला कृषि अधिकारी डॉ.राजेंद्र प्रताप सिंह ने बताया कि अनुदानित उर्वरक पीओएस से बेचा जाना है। कृषक जोत से अधिक मात्रा में उर्वरकों की बिक्री करने वाले विक्रेताओं के विरुद्व प्रभावी कार्रवाई की जायेगी। उर्वरक व्यवसायी के पास स्टाक पंजिका, ...
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