मुजफ्फरपुर, जुलाई 7 -- मुजफ्फरपुर, सोमनाथ सत्योम। आधुनिक चिकित्सा सुविधा से लैस शहर का सदर अस्पताल एक तरफ नए भवन में मॉडल अस्पताल के रूप में संचालित होने लगा, तो दूसरी तरफ शहर के गौरवशाली इतिहास की निशानी जमींदोज होने जा रही है। असुरक्षित हो चुके ब्रिटिशकालीन पुराने अस्पताल भवन को सरकार गिराने जा रही है। यह भवन इतना पुराना है कि इसके निर्माणकाल की सही जानकारी वयोवृद्ध को भी ठीक से नहीं है, लेकिन शिलापट्ट बताता है कि वर्ष 1937 में इस भवन में विद्युतीकरण राय बहादुर टुनकी साह ने करवाया था। अब सदर अस्पताल का पुराना भवन इतिहास के पन्नों में दफन होकर रह जाएगा। आजादी से करीब ढेर दशक पहले स्थापित यह अस्पताल भवन 88 वर्ष से सेवा देता रहा। समय के साथ यहां चिकित्सीय सुविधाएं बदलती रहीं। यह भवन चिकित्सा के बदलते स्वरूप का गवाह रहा है। वर्तमान में इसमे...