नई दिल्ली, सितम्बर 4 -- चोएग्याल मठों के प्रमुख लामा तुलकु पाल्डेन वांग्याल की कथित तौर पर कई वर्षों के कारावास और गंभीर दुर्व्यवहार के बाद 53 वर्ष की आयु में जेल में मृत्यु हो गई। बताया गया कि उन्हें पहले गोंजो काउंटी जेल में रखा गया, फिर चामडो और बाद में ल्हासा स्थानांतरित किया गया, जहां उन्हें अत्यंत कठिन परिस्थितियों का सामना करना पड़ा। रिपोर्ट्स के अनुसार, उन्हें निरंतर यातनाएं सहनी पड़ीं और उनकी रिहाई की अपीलों को अनसुना कर दिया गया। 2025 में उन्हें गांसु प्रांत ले जाया गया, जहां यातनाएं जारी रही। 19 जुलाई को हिरासत में उनकी मृत्यु हो गई। केंद्रीय तिब्बती प्रशासन (CTA) ने उनकी मृत्यु पर गहरा शोक व्यक्त किया और इसे बीजिंग द्वारा तिब्बती धार्मिक हस्तियों के व्यवस्थित दमन और बुनियादी मानवाधिकारों से वंचित करने का स्पष्ट उदाहरण बताया। स...