नई दिल्ली, जुलाई 17 -- नई दिल्ली, प्रमुख संवाददाता। उच्च न्यायालय ने इस बात पर आश्चर्य जताया कि बिना कक्षा के केवल चारदीवारी, शौचालय और पेयजल की सुविधा के साथ कोई स्कूल कैसे संचालित किया जा सकता है। कोर्ट ने यह टिप्पणी तब की जब उसे बताया गया कि संबंधित अधिकारियों ने खिड़की गांव में दिल्ली नगर निगम द्वारा संचालित एक प्राथमिक विद्यालय में कक्षाओं को छोड़कर कुछ स्थानों की मरम्मत व नवीनीकरण की अनुमति दी है। इस विद्यालय की दीवार सूफी संत यूसुफ कत्तल के मकबरे से सटी है। मुख्य न्यायाधीश डीके उपाध्याय एवं न्यायमूर्ति तुषार राव गडेला की पीठ ने अपने आदेश में कहा कि यदि स्कूल संचालित करना है, तो उसे उन सुविधाओं के अलावा कक्षाओं की आवश्यकता होगी। पीठ ने कहा कि सक्षम प्राधिकारी ने 14 मई 2025 को सिर्फ दीवारों व अन्य जगह की मरम्मत और नवीनीकरण की अनुमति ...