ढाका, दिसम्बर 25 -- बांग्लादेश की राजनीति को दशकों तक दो महिलाओं की कट्टर दुश्मनी ने परिभाषित किया है। इसे 'बैटल ऑफ द बेगम्स' कहा जाता है। एक तरफ अवामी लीग की नेता और बांग्लादेश के संस्थापक शेख मुजीबुर रहमान की बेटी शेख हसीना वाजेद हैं तो दूसरी तरफ बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी (बीएनपी) की प्रमुख और पूर्व राष्ट्रपति जियाउर रहमान की पत्नी बेगम खालिदा जिया हैं। इन दोनों 'बेगमों' ने मिलकर कभी तानाशाही के खिलाफ लड़ाई लड़ी, लेकिन सत्ता की कुर्सी ने उन्हें धुर विरोधी बना दिया। कभी खालिदा बाजी मारती थीं, तो कभी हसीना। लेकिन 2024 के छात्र आंदोलन ने इस जंग को नया मोड़ दे दिया। आज, जब हम क्रिसमस 2025 मना रहे हैं, हसीना भारत में निर्वासन में हैं, खालिदा गंभीर रूप से बीमार हैं, और देश एक अंतरिम सरकार के नेतृत्व में चुनाव की तैयारी कर रहा है। आइए, इस पू...