भागलपुर, अगस्त 25 -- भागलपुर, वरीय संवाददाता। जिले के कोसी व गंगा नदी बेसिन में इन दिनों गरुड़ या ग्रेटर एडजुटेंट कलरव करते देखा जा रहा है। बाढ़ का पानी घटने के बाद दियारा व खेतों में जमा छिछले पानी में मृत जीवों की भरमार है। गरुड़ का झुंड यहां रहने वाली छोटी मछलियां, घोघा, केचुआ, सीप व अन्य जीवों को खाने में व्यस्त है। पर्यावरणविद व गंगा प्रहरी ज्ञान चंद्र ज्ञानी ने बताया कि यह समय गरुड़ का प्रजनन काल है। मध्य सितंबर तक यह पेड़ों का चयन कर उस पर घोंसला तैयार कर लेंगे। अक्टूबर से मादा गरुड़ घोंसलों में अंडे देगी। इन अंडों से चूजे दिसंबर में निकल आएंगे। मार्च-अप्रैल में बच्चे उड़ने योग्य होते हैं तो इनकी कॉलोनी धीरे-धीरे खाली होने लगती है। पक्षी आसपास के वैसे इलाकों में चले जाते हैं, जहां खाने प्रचुर मात्रा में हो। गरुड़ों की कॉलोनियां नवग...