लखनऊ, दिसम्बर 24 -- लखनऊ, प्रमुख संवाददाता व्यावसायिक शिक्षा विभाग ने योजनाओं को लागू करने में लापरवाही बरती। कई योजनाओं में वह पूरा बजट नहीं खर्च कर पाया। मूल बजट के बचे हुए 402 करोड़ रुपये वित्त विभाग को वापस नहीं किया। यही नहीं अनुपूरक अनुदान में अनावश्यक 300 करोड़ रुपये ले लिए। यह रकम विभाग के पास बेकार पड़ी रही। सीएजी की रिपोर्ट में व्यावसायिक शिक्षा विभाग की ओर से 402.24 करोड़ रुपये की धनराशि वित्त विभाग को वापस न करने पर आपत्ति जताई गई है। फिर जुलाई 2024 में 300 करोड़ का अनुपुरक अनुदान लेना विभाग के लिए अनावश्यक साबित हुआ। कई योजनाओं में वह पूरी धनराशि नहीं खर्च कर पाया। दस्तकार प्रशिक्षण योजना में 26 करोड़ में से 16.75 करोड़ ही खर्च हुए, प्रदेश में दो मेगा राजकीय आईटीआई खोलने के लिए एक करोड़ में से शून्य और मुख्यमंत्री शिक्षुता प्...
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