सिद्धार्थ, नवम्बर 26 -- भनवापुर, हिन्दुस्तान संवाद। क्षेत्र के शाहपुर में मंगलवार को फसल अवशेष प्रबंधन पर ब्लॉक स्तरीय जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किया गया। कार्यक्रम में सोहना कृषि विज्ञान केंद्र के वैज्ञानिक डॉ. सर्वजीत ने किसानों को गेहूं एवं सरसों की वैज्ञानिक खेती करने के बारे में जानकारी दी। उन्होंने फसल अवशेष जलने से होने वाले दुष्प्रभावों के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि फसल अवशेष जलाने से वायु प्रदूषण, मृदा में सूक्ष्म जीवों की संख्या में कमी आना, मृदा में पोषक तत्वों का जलना एवं मृदा सतह कठोर हो जाना एवं मृदा रंध्र से ऑक्सीजन की मात्रा कम हो जाना,भूमि की जल धारण क्षमता में कमी आना आदि के बारे में जानकारी दी। फसल अवशेष प्रबंधन करने से होने वाले लाभ के बारे में बताया कि मृदा में कार्बनिक पदार्थ की मात्रा बढ़ती है मृदा में सूक्ष्म...
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