लखनऊ, जुलाई 14 -- लखनऊ, विशेष संवाददाता प्रदेश में वर्षा जल संचयन और भूजल संरक्षण के प्रयासों का असर दिखने लगा है। महोबा के दो विकास खंड कबरई और चरखारी अति दोहित श्रेणी से बाहर आ गए हैं। ऐसा लघु सिंचाई विभाग द्वारा तालाबों के जीर्णोद्धार, चेकडैम, जल संरक्षण के प्रयासों के चलते हुआ है। ये बातें सोमवार को जलशक्ति मंत्री स्वतंत्रदेव सिंह की समीक्षा बैठक में सामने आईं। वे लघु सिंचाई विभाग की विभिन्न योजनाओं की समीक्षा कर रहे थे। अधिकारियों को निर्देश दिए कि वृहद सर्वेक्षण कर बड़े तालाबों के जीर्णोद्धार की परियोजना तैयार की जाय, जिससे आसपास के किसानों को अनुदान पर सोलर पम्पसेट उपलब्ध कराते हुए सिंचाई सुविधा मुहैया की जा सके। जिसके क्षेत्रों में बढ़ रहे बोरिंग के दबाव को कम किया जा सके एवं जल संतुलन बना रहे। जल निगम (ग्रामीण) के सभागार में हुई बै...