जम्मू, अगस्त 15 -- जम्मू-कश्मीर में किश्तवाड़ जिले के एक सुदूर पहाड़ी गांव चशोती में गुरुवार को बादल फटने के हादसे में 'चमत्कारिक' ढंग से बची नौ वर्षीय देवांशी उन सैकड़ों तीर्थयात्रियों में शामिल थी, जो मचैल माता मंदिर की यात्रा के अंतिम चरण के लिए यहां एकत्र हुए थे। 'मैगी-पॉइंट' की दुकान में अचानक आई बाढ़ के कारण वह कीचड़ और मलबे में दब गई थी तथा कुछ घंटों बाद उसके चाचा और अन्य ग्रामीणों ने उसे बचा लिया। अब भी सदमे में दिखाई दे रही देवांशी ने कहा, ''मैं सांस नहीं ले पा रही थी। मेरे चाचा, बाउजी और बाकी लोगों ने घंटों बाद लकड़ी के तख्ते हटाए और हम सब बाहर निकले। माता ने हमें बचा लिया।'' उनकी तरह, 32 वर्षीय स्नेहा को भी यकीन नहीं हो रहा कि वह जिंदा हैं। सामान वाहन में लादने के कुछ ही पल बाद, वह और उनके परिवार के चार सदस्य तेज बहाव में बह गए...