लखनऊ, मई 23 -- लखनऊ, विशेष संवाददाता कामिल (स्नातक) और फाजिल (परास्नातक) पाठ्यक्रम मदरसा बोर्ड नए सिरे से तैयार करेगा। दोनों पाठ्यक्रमों को सुप्रीम कोर्ट ने असंवैधानिक करार दे दिया था। अल्पसंख्यक कल्याण राज्यमंत्री दानिश आजाद अंसारी ने बताया कि सुप्रीम कोर्ट ने जिस मामलों में आपत्तियां जताई थीं, उन्हें दूर करने के लिए कमेटी बना दी गई है। इसकी अध्यक्षता अल्पसंख्यक कल्याा निदेशक कर रहे हैं। वह उन आपत्तियों को दूर करेंगे, जिन पर सुप्रीम कोर्ट ने आपत्तियां जताई थीं। सूत्र बताते हैं कि मदरसा शिक्षा को रोजगारपरक बनाने के लिए इसमें व्यवसायिक शिक्षा जोड़ी जाएगी। यही नहीं, कामिल और फाजिल कोर्स के बदले पाठ्यक्रम के बाद शिक्षकों की भर्ती योग्यता भी नए सिरे से निर्धारित की जाएगी।

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